tag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post6728529265018827623..comments2023-10-31T21:08:31.369+05:30Comments on मेरा काव्य-पिटारा: वो लोकगीतAnonymoushttp://www.blogger.com/profile/12634209491911135236noreply@blogger.comBlogger8125tag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post-59661601996077794662011-09-13T17:12:36.123+05:302011-09-13T17:12:36.123+05:30.... बेहतरीन कविता.... बेहतरीन कवितासंजय भास्कर https://www.blogger.com/profile/08195795661130888170noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post-52476955134009042222011-09-13T10:58:23.752+05:302011-09-13T10:58:23.752+05:30सुन्दर और बेहतरीन कविता
अपने ब्लाग् को जोड़े यहां स...सुन्दर और बेहतरीन कविता<br />अपने ब्लाग् को जोड़े यहां से <a href="http://apnaauraapkablog.blogspot.com/" rel="nofollow">1 ब्लॉग सबका </a><br /><br /><br /><b>कृपया फालोवर बनकर उत्साह वर्धन कीजिये</b>smshindi By Sonuhttps://www.blogger.com/profile/02157490730225902218noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post-76437591026908130772011-09-13T09:32:58.037+05:302011-09-13T09:32:58.037+05:30आपको अग्रिम हिंदी दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं. हमार...आपको अग्रिम हिंदी दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं. हमारी "मातृ भाषा" का दिन है तो आज से हम संकल्प करें की हम हमेशा इसकी मान रखेंगें...<br />आप भी मेरे ब्लाग पर आये और मुझे अपने ब्लागर साथी बनने का मौका दे मुझे ज्वाइन करके या फालो करके आप निचे लिंक में क्लिक करके मेरे ब्लाग्स में पहुच जायेंगे जरुर आये और मेरे रचना पर अपने स्नेह जरुर दर्शाए...<br /><a href="http://neelkamaluvaach.blogspot.com/" rel="nofollow"> BINDAAS_BAATEN </a>कृपया यहाँ चटका लगाये<br /><a href="http://neelkamal5545.blogspot.com/" rel="nofollow"> MADHUR VAANI </a>कृपया यहाँ चटका लगाये<br /><a href="http://neelkamalkosir.blogspot.com/" rel="nofollow"> MITRA-MADHUR </a>कृपया यहाँ चटका लगायेNeelkamal Vaishnawhttps://www.blogger.com/profile/11181440546086719343noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post-89730110030072184802011-09-12T21:48:43.297+05:302011-09-12T21:48:43.297+05:30एफ. एम., पोड ने
निगल लिया
फिल्मी गानों ने
ग्रास लि...एफ. एम., पोड ने<br />निगल लिया<br />फिल्मी गानों ने<br />ग्रास लिया<br />अब तो कोई<br />सुनता भी नहीं<br />न गाता कोई<br />वो लोकगीत | <br /><br />वर्तमान का यथार्थ है आपकी कविता में .<br />शुक्र है कि मेरे शहर सागर में आकाशवाणी का एफ. एम. केन्द्र है, जिससे बुन्देली लोकगीतों का नियमित प्रसारण होता है.Dr Varsha Singhhttps://www.blogger.com/profile/02967891150285828074noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post-39374498920056008602011-09-11T20:43:23.940+05:302011-09-11T20:43:23.940+05:30badhiyaabadhiyaaरश्मि प्रभा...https://www.blogger.com/profile/14755956306255938813noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post-85175612636442248892011-09-11T18:20:07.885+05:302011-09-11T18:20:07.885+05:30जिन खोजा तिन पाइयाँ गहरे पानी पैठ.
लोक गीत गाँवों ...जिन खोजा तिन पाइयाँ गहरे पानी पैठ.<br />लोक गीत गाँवों में अभी भी जीवित हैं , फिर भी आसानी से नहीं मिलेंगे ,ढूँढना ही होगा.अरुण कुमार निगम (mitanigoth2.blogspot.com)https://www.blogger.com/profile/11022098234559888734noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post-18599414400039442872011-09-11T06:08:51.159+05:302011-09-11T06:08:51.159+05:30आपकी इस उत्कृष्ट प्रविष्टी की चर्चा आज के चर्चा ...आपकी इस उत्कृष्ट प्रविष्टी की चर्चा आज के <a href="http://charchamanch.blogspot.com/2011/09/634.html" rel="nofollow">चर्चा मंच</a> पर भी की गई है!<br />यदि किसी रचनाधर्मी की पोस्ट या उसके लिंक की चर्चा कहीं पर की जा रही होती है, तो उस पत्रिका के व्यवस्थापक का यह कर्तव्य होता है कि वो उसको इस बारे में सूचित कर दे। आपको यह सूचना केवल इसी उद्देश्य से दी जा रही है! अधिक से अधिक लोग आपके ब्लॉग पर पहुँचेंगे तो <a href="http://charchamanch.blogspot.com/2011/09/634.html" rel="nofollow">चर्चा मंच</a> का भी प्रयास सफल होगा।डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'https://www.blogger.com/profile/09313147050002054907noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5202377929099351505.post-72023583052762870082011-09-10T19:20:53.644+05:302011-09-10T19:20:53.644+05:30BADHAAI ||
आधु-निकता धूनती, धिन-धिन धुन-धुन गीत,...BADHAAI ||<br /><br />आधु-निकता धूनती, धिन-धिन धुन-धुन गीत,<br />धूम-धडाका बज रहा, कान फोड़ संगीत |<br />कान फोड़ संगीत, मिटाता असली खुश्बू ,<br />चंडू पीकर मस्त, तोड़ता जाए बम्बू<br />कर भारत अफ़सोस, नहीं दो दिन भी टिकता,<br />लोकगीत को बेंच, खरीदते आधुनिकता ||रविकर https://www.blogger.com/profile/00288028073010827898noreply@blogger.com